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सेना भर्ती पेपर लीक मामले में लेफ्टिनेंट रायजादा और सिपाही आलोक कुमार को सीबीआई कोर्ट ने चार दिन की सजा सुनाई- पुणे

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हाल ही में, केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई), पुणे ने सेना आयुध कोर की दक्षिणी कमान से जुड़े एक लेफ्टिनेंट कर्नल और एक सिपाही को गिरफ्तार किया। 2021 भर्ती घोटाले में आरोपित होने के बाद सीबीआई कोर्ट ने उन्हें चार दिनों की सीबीआई हिरासत में भेज दिया।

आरोपी लेफ्टिनेंट कर्नल विकास रायजादा, सिपाही आलोक कुमार, प्रियंका आलोक कुमार और हवलदार सुशांत नाहक कथित तौर पर सेना भर्ती पेपर लीक मामले में शामिल हैं। सीबीआई ने 2021 में सिविलियन ग्रुप सी पदों के लिए भर्ती में उनकी संलिप्तता के लिए मामला दर्ज किया था। सेना अधिकारी और सिपाही चार नोटिस भेजने के बावजूद सहयोग नहीं कर रहे थे। इसलिए, अदालत ने गिरफ्तारी वारंट जारी किया।

जांच के दौरान यह पता चला कि लेफ्टिनेंट रायजादा, कुमार और नाहक के साथ मिलकर सेंट्रल एम्युनिशन डिपो, पुलगांव में ट्रेड्समैन, जूनियर ऑफिस असिस्टेंट, दर्जी और फायरमैन जैसे पदों के लिए उम्मीदवारों से लाभ प्राप्त करने के आपराधिक षड्यंत्र में शामिल थे।

जांच के दौरान यह भी पता चला कि कुछ बिचौलियों से यूपीआई के जरिए कई तरह के लेन-देन हुए थे। एफआईआर के मुताबिक लेफ्टिनेंट रायजादा ने नाहक की पत्नी के मोबाइल फोन पर आंसर की भेजी। नाहक ने उसे प्रियंका को फॉरवर्ड किया। मोबाइल चैट से पता चला कि आरोपी व्यक्ति आंसर की लीक करने और उससे अनुचित लाभ उठाने में शामिल थे। फोन की जांच करने पर पता चला कि 8 सितंबर 2021 को आरोपी प्रियंका दर्जी के पद के लिए लिखित परीक्षा में शामिल हुई थी। रायजादा ने व्हाट्सऐप के जरिए सीधे प्रियंका को 44 सवालों की आंसर की भेजी और बदले में 90,000 रुपये प्राप्त किए।